Made in India
मिठाई खाने का मज़्ज़ा
बचपन में कुछ यु आता था
माँ देती थी पूरा लड्डू
जो टुकटो में खाया जाता था !
थोड़ा खा के ,
थोड़ा बचा के रखते थे
सब का ख़त्म हो जाने पे
जिससे निकल हम खाते थे !
वो थोड़ा थोड़ा टूकडा उस वक़्त
बेहद मीठा हो जाता था
जब खाते वक़्त उसको
चुपके से कोई खा जाता था !
अब वो मज़ा नहीं रहा खाने में
अब नहीं रही बात चुरा के खाने में
जो मज़ा आता था बाँट के खाने में
नहीं मिलता पुरा लड्डू खाने में…
Added by Geeta Negi on August 29, 2020 at 2:07pm — 1 Comment
जिन्हे इश्क़ है आज़ादी से,
अक्सर लम्बी उड़ान भरते है ;
सारा जहाँ जिसका हो,
वो परिंदो सा उड़ा करते है!
ना ख़्वाहिशे ज़ंजीरें बनती है ,
ना कदम डगमगाते हैं
ज़िंदगी में कोई भी मुश्किल आये
वो पल में हल कर जाते है !
जिन्हे इश्क़ है आज़ादी से,
वो कहाँ बंधन में बांधते हैं?
नील गगन पुकारे जिनको
ज़मी पे कहाँ रह पाते हैं?
@Geeta Negi…
Added by Geeta Negi on August 28, 2020 at 10:57pm — No Comments
वो बातें अधूरी ही रह गई...
वो कल जरूरी थी या नहीं,
आज जरूरी सी लग रही,
पर क्या करे,
वो बाते अधूरी ही रह गई...
सिर्फ लब्जो की ही नहीं,
जज्बातों की भी हो गई थी कमी,
पर क्या करे,
वो बाते अधूरी ही रह गई...
Added by Nagma Nigar on August 28, 2020 at 8:21pm — No Comments
ना जाने कैसी खुराफात ये दिल कर बैठा है,,
कि अपनी हर धड़कन पर तुम्हारा नाम मुकर्रर कर बैठा है,,
कहने को तो मेरा है पर मेरी सुनता कहां है,,
तुम्हारे हर खयाल पे ये खुद को बेइंतहा बेसब्र कर बैठा है ।।
Added by Sakshi garg on August 28, 2020 at 6:49pm — 1 Comment
શિલાલેખ
રહેવા દે તું,
શબ્દોનાં આ ત્રાજવા
ટૂંકા પડશે
મારી અશબ્દ વેદનાઓને
તોલમાપનું કોઈ ગણિત
નહિ પરવડે
શકુની પાસેથી
ઉધાર લીધેલા પાસાઓ
તેં અનેકવાર ફેંકી જોયા
પરંતુ
મેં તો મારા મનની મિરાંત
ક્યારનીય એમનેમ
દાવ પર લગાડી દીધેલ છે
હું પામું કે ગુમાવું
તું જીતે કે હારે
આ…
ContinueAdded by Nikhil Joshi on August 28, 2020 at 3:09pm — No Comments
साँसे-
कितनी बार उलझी हैं
ये तुम्हारी धड़कनों में
वो किस्सा याद है जब
तुम्हारी शर्ट की बटन
से ये उलझ के अटक
गई थी और साँसों को
सुलझाने के चक्कर में
टूट गई आज भी वो
सांसो में उलझी हुई
बटन मेरे पास है...
Added by Firdous on August 28, 2020 at 2:16pm — No Comments
चांद जितनी चाहत है,
जुगनू जितनी हैसियत है मेरी...
ख्वाहिशों की दुनिया में,
बस अधूरे ख्वाब ही मिल्कियत है मेरी..
मिल्कियत= 'जागीर', ' जायदाद '
Added by Sakshii Subhash Tiwari on August 28, 2020 at 12:08am — No Comments
હોઠો કો છૂઆ ઉસને એહસાસ અબ તક હૈ
આંખોમે નમી સાંસો મે આગ અબતક
હે...
વક્ત ગુજર ગયા પર યાદ અબ તક હૈ,
ક્યા પાણીપુરીથી યાર મુહમેં સ્વાદ
અબ તક હે...
Added by Jayveersinh Aswar on August 27, 2020 at 9:28pm — No Comments
आया है नसीब में जब सफ़र,
तो इसे लाज़वाब बनाएंगे।
मुस्किलो में तो दुनिया घबराती ही है,
हम तो काटो में भी मुस्कुराएंगे।।
हाथो से यू ही ना फिसल जाए,
वक़्त से हर…
ContinueAdded by Nagma Nigar on August 27, 2020 at 8:27pm — 2 Comments
बड़ी ख्वाइशें नहीं छोटे सपने ही काफी है
चांद छुप गया , तारे तो बाकी है
ख्वाबों के दराज को खोलके देखो
रौशनी से चमकते सपनों का बसेरा है
पर उस रास्ते में कई पहरेदारों का डेरा है
मेहनत और सबर से ही मिलना सवेरा है
बंद दराज के अंदर तो सिर्फ अधेरा है!!
@Jhanvi sareen
ContinueAdded by Jhanvi Sareen on August 27, 2020 at 6:22pm — No Comments
before him,
she never bothered about anybody else.
she never used to think about life with someone.
it was his magical presence
that she was addicted to
that she always wanted to do everything for both of them.
and somewhere between their love and scattered schedule
lived a monster thought..
the fear, that will take everything away
fear that will rip apart all the affection they ever built...
but you my sweetheart,
you know it way better than…
Added by Vrushali Anil Sonawane on August 27, 2020 at 5:52pm — No Comments
Added by Sanket Joshi on August 27, 2020 at 11:56am — 1 Comment
रोटी-
थाली में रोटी और
आसमान में चाँद
एक जैसे ही दीखते
हैं, दोनों गोल हैं,धब्बे
भी दोनों पर हैं, रोटी
हर रोज़ थाली में उगती है
और चाँद आसमान पर,
फ़र्क़ बस इतना है रोटी
पेट का अँधेरा
बुझाती है और चाँद
रात का ...
ख़ामोशी का है मंजर और पलकें हैं भारी
गहरी दिल की सोच अब बहते अश्कों की बारी
अनकही पहेली और अनसुलझे सवाल
जैसे मेरे व्यक्तित्व पर उठा रहे सवाल
मैं कौन थी क्या बन गई क्या हो गया मुझे
लाखों की भीड़ में भी सब देख सकते थे मुझे
सहसा मेरे जीवन में तूफान आ गया
पर्वत से इरादों को कैसे हिला गया
पल में लगा मुझे बिखरी मैं रेत सी
दुनिया की चकाचौंध अब दिखे फरेब सी
पाती हूं आज खुद को घनघोर साए में
जैसे फंसी हो किश्ती नदी भंवर के साए में …
Added by Monica Sharma on August 27, 2020 at 12:30am — 1 Comment
बंद कर दे हमें सताना ए जिंदगी,
हम इतने खुद्दार हो गए है..
की अब रूठ गए,
तो फिर से मुडकर नहीं देखेंगे..
Added by Sakshii Subhash Tiwari on August 27, 2020 at 12:20am — 1 Comment
Falling in love with you,
Was not a matter of chance.
It was desnity's idea to,
Ignite our romance.
You did not pull away,
The earth below my feet.
Every step was reasoned,
Be it shallow or steep.
I was never blind in love,
Though enchanted by your looks.
We took the decision of our lives,
By taking pledge on the holy book.
Many storms came and went
But couldn't shake our faith
We knew we are here to stay
By…
Added by Jasmine Singh on August 27, 2020 at 12:16am — No Comments
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Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:19pm 0 Comments 0 Likes
Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:18pm 0 Comments 0 Likes
Posted by Hemshila maheshwari on September 12, 2023 at 10:31am 0 Comments 1 Like
Posted by Pooja Yadav shawak on July 31, 2021 at 10:01am 0 Comments 1 Like
Posted by Jasmine Singh on July 15, 2021 at 6:25pm 0 Comments 1 Like
Posted by Pooja Yadav shawak on July 6, 2021 at 12:15pm 1 Comment 2 Likes
Posted by Pooja Yadav shawak on June 25, 2021 at 10:04pm 0 Comments 3 Likes
Posted by Pooja Yadav shawak on March 24, 2021 at 1:54pm 1 Comment 1 Like
वो जो हँसते हुए दिखते है न लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है
पराये अहसासों को लफ़्ज देतें है
खुद के दर्द पर खामोश रहते है
जो पोछतें दूसरे के आँसू अक्सर
खुद अँधेरे में तकिये को भिगोते है
वो जो हँसते हुए दिखते है लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है
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