Manisha joban desai's Blog (128)

હાઈકુ

પ્રકાશપુંજ

સળવળે ભીતર ;

અભેદનીય.

-મનિષા 'જોબન…

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Added by Manisha joban desai on March 1, 2017 at 9:30pm — No Comments

ગઝલ

સાવ અમસ્તું ચાહવું આ  આપણું,

રોજ મનને મારવું આ   આપણું .

તું અને હું મૃગજળ રણની વચ્ચે,

તરસ થઈને  જાણવું આ  આપણું .

એમ  કંંઈ આ સાંજ થોડી  આથમે? …

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Added by Manisha joban desai on February 20, 2017 at 7:49pm — No Comments

હેપ્પી વવેલેન્ટાઇન ડે

હેપ્પી વેલેન્ટાઈન ડે... ક્ષણોનો પ્રવાસ

તેં ક્ષણોનાં થોડા ઝુમખા મને ધર્યા અને મેં ?એનાં રસમાં ભીંજાતા ઓઢી લીધું તારું અસ્તિત્વ ...ત્યાં જરા આગળ જતાં હાથ પકડી અચાનક હથેળીની રેખાઓમાં લાલ રંગની પેનથી રસ્તા દોર્યા ..અને મેં આશ્ચ્રર્યથી પ્રશ્ન પૂછી લીધેલો ....

"ક્યાં સુધી જવાશે ?"

અને તે કહેલું, 

"હું કેવી રીતે કહું? મારી જિંદગીની મંઝિલ સુધીનો નકશો તો તારી હથેળીમાં દોર્યો છે "

"તો તું જ સમજી લે ને એની ભુલભુલામણી જોઈને ?"

અને તે તરત હથેળી…

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Added by Manisha joban desai on February 18, 2017 at 5:19pm — No Comments

ગઝલ

વાત છેડી  છે  તમે,

જાત જોડી છે અમે.

છે વસંતો  આકરી,

રાહ મોડી છે   તમે.

ફૂલ મ્હોરે  વૃક્ષમાં?

ડાળ તોડી  છે તમે.

જાજમો  લીલી છમ્મ,

સરહદો ખોડી છે તમે.…

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Added by Manisha joban desai on February 6, 2017 at 8:42pm — No Comments

ગઝલ

અટકળો સૌ કોઇ ખોટી પાડતી આ  જીંદગી,
રોજ વાતો અવનવી જો  માંડતી આ જિંદગી.
આભ હોવું, તો કદીક  ધરા,  ચગડોળે ઘૂમતી
વાદળો થૈ સુખને  પણ સંતાડતી આ જિંદગી.…
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Added by Manisha joban desai on January 22, 2017 at 9:11pm — No Comments

गज़ल

ज़िंदगी तो है पर यहाँ साथ में ही ये गम क्यो है ,

हरपल यहाँ खुश,तो आँख उसकी नम क्यों  है।

हार जाता  है अक्सर यहाँ सच  रहेता  तन्हा यूँ

जूठ के ही पाँव में इस तरहा संग  दम क्यों  है। 

जिसने  भी यूँ  कभी जो यूं निभाई  ता-उम्र वफ़ा,

और उससे ही रहेता दूर उसका  सनम क्यों  है।

भूल जाते है अगर वो ही हमसे   दूर  जा   कर, 

तो यहाँ गमे -इंतज़ार  में ही  खड़े  हम क्यों है। 

सोच तो वो भी  कुछ  अलग  रहा  है   हम  से, 

दिल फिर उसी शख्स का हूँआ हमदम…

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Added by Manisha joban desai on January 22, 2017 at 9:02pm — No Comments

हिन्दी लघुकथा

क्यों ऐसा ?

विश्वा जल्दी से अपनी कंपनी की बस से उतरती हूँई घर के कम्पाउंड में दाखिल हूँई ।बाहर ही उस की सर्वेंट मिली , 

"भाभीजी ,आपके ननंद और नंदोईजी आये हुए है और माजी बारबार घडी देख रही है,मुझे तो आज जल्दी जाना है। "

"हां ,मुझे फोन आया था लेकिन मुझे भी दफ्तर में आज का काम ख़तम करके देना था। "

घर में दाखिल होते ही सबसे…

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Added by Manisha joban desai on January 18, 2017 at 7:30am — No Comments

हिन्दी लघुकथा

खुशबु रिश्ते की

बाबूजी एकदम गुस्सा होकर चिल्ला रहे थे ,"कभी ऐसा हूँआ ही नहीं के में भूल गया हूँ।"

और सर्वेंट वगैराह कांपने लगे। ८०० रुपये गायब हुए थे उससे ज्यादा तो घर के उसूलो को तोड़ा उसका ज्यादा गुस्सा था।घर के सभी सदस्य भी जमा हो गए।बड़ी भाभी कुछ बोलनें जा रहे थे तभी, सिनव ने कुछ इशारा किया तो वो तुरंत समज़ गयी की कुछ गड़बड़ हुई है।तुरंत रुम में जाकर वापस आयी और बाबूजी को ८०० रुपये देते हूँए ,

"माफ़ कीजिये बाबूजी,भूलसे आपकी ड्रेस…

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Added by Manisha joban desai on January 18, 2017 at 7:00am — No Comments

काव्य

इस दुनियामें ऐसा कोई काम नहीं है
जो बेटियों ने करके नां दिखाया है ,
छोटी सी वो गुड़िया बनकर रहती है
पापा मम्मी की जान बनकर रहती है ,
सुनती आई हे सदियों से ये बातें सबकी
ये करो ये ना करो की, सख्तियॉ सहती है,
रहे कितने ही अवरोध को तोड़ती हुई
बनकर गंगा की धार सी निकलती है,
अपने घरको अपना बनाकर पूरा कहा जिया
की दूसरा घर संवारने बिछड़ती हे बेटियांँ,
लाख दुःख यहाँ सहकर भी उफ़ ना करे
नये जीव को जन्म देकर हँसती है बेटियांँ .
-मनिषा जोबन देसाई

Added by Manisha joban desai on January 15, 2017 at 5:08pm — No Comments

हिन्दी कहानी

ये मेरा दोष है?

अपने वार्डरोब से जल्दी से साड़ी निकालकर पहन ली और पर्स के साथ हॉस्पीटल चेकअप की फ़ाइल लिए हुए सुविधा ने रूम लोक किया ।इतने में नीचे के रूम से आवाज़ आयी "कितनी देर लगाती हो महारानी ?अभी तक मेकअप कर रही हो क्या ? " उस की सास जानकीदेवी आवाज़ लगा रही थी । ये सुनकर जल्दी से "हां,आई " जवाब दिया और एक गहरी सांस ली ।ये तो रोज़ का हे, अब क्या ज्यादा बोले ?सीडी उतर रही थी की मोबाईल की घंटी बजी ।

"हां बस हम लोग अभी डॉक्टर को दिखाने के लिए निकल ही रहे है ।आप जरा निकलते समय…

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Added by Manisha joban desai on January 9, 2017 at 3:53pm — No Comments

ગઝલ

વાત નવલાં આ વરસની છે ફરી,
નોટબંધી ને  તરસની છે    ફરી. 

રાખવી ના આશ કોઇ ચમત્કારની,
સમજ તો આ અરસપરસ જ છે ફરી, 

હોય લાંબો પથ ભલે નેે  આજનો, 
સુખનો આ સૂરજ સરસ  છે ફરી.

દેશમાં તો ખબર  અંધાધૂંધ   છે, 
લોકને અસમંજસ જ તો છે ફરી.

આપણાં સૌની મહેનત  કામની, 
એ બધાને સ્વ-રસજ તો છે ફરી.

-મનીષા જોબન દેસાઇ

Added by Manisha joban desai on January 9, 2017 at 2:40am — No Comments

પ્રવાસ વણઁન

પ્રવાસ વર્ણન- યુગ્મા જોબન દેસાઇ નો એક પ્રયત્ન પ્રેરણાદાયી - 10 નેશન બાઈકિંગ રાઇડ

આટીઁકલ by-મનીષા જોબન દેસાઈ 

               આકીઁ.ઇન્ટી.ડીઝાઇનર

               સુરત-ગુજરાત-ઇન્ડીયા

યુગ્મા જોબન દેસાઇ નો એક પ્રયત્ન પ્રેરણાદાયી - 10 નેશન બાઈકિંગ રાઇડ -મનીષા જોબન દેસાઈ 

મમ્મી પપ્પા મમ્મી…

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Added by Manisha joban desai on January 9, 2017 at 2:30am — 1 Comment

गज़ल

है सभी तो सफर में इस जिंदगी में जो यहाँ,  

फिरते है अक्सर उदास ज़िंदगी मे जो यहाँ। 

पलभर भी कभी ये लम्हें पाते खुशी के कहाँ?

खुदको बस आ गए है रास ज़ीन्दगी मे जो यहाँ।

जो कभी मिली इजात गमें -हयात से राह में,

तो वहीँ जी ले कुछ यूँ ख़ास ज़िंदगी में जो यहाँ।

ढूंढते क्यूँ फिरते रहते सब अपने आप को,

कोइ प्यारा ओर भी है पास जिंदगी में जो यहाँ।

राह खुदा की यहाँ सबको न अक्सर मिलती,

सब यहाँ भूले उसे है आसपास जिंदगी में जो…

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Added by Manisha joban desai on December 29, 2016 at 2:13am — No Comments

गज़ल

नज़रमें तुम्हें बसा लेंगे यूं आओ तो सही,

दिल के कमरे में हमें छूपाओ तो सही।

छा रही है चुपकी सी इन हवाओ में कहीं,

बात प्यारी सी कभी आकर सुनाओ तो सही।…

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Added by Manisha joban desai on December 21, 2016 at 10:30am — No Comments

गज़ल

खिलते हो फूल या  कांटे उन को पूछा न ज़रा,  
एक सुनहरा- सा ख्वाब   बुन   लिया  है  ज़रा।
शायद कहीं  तेज़  हुई  दिल  की  वो  धड़कनें, 
प्यार की उस आवाज़  को सुन लिया है  ज़रा।
 
बीखर न जाये कहीं तस्वीर ही पलक  झपकते, 
याद संजोेकर मूंद लिया आंखो को   है   ज़रा।
हों न जुदा राह में कीया   तो था  वादा   कभी,  
फिर भी  यूंही उनसे रूठ भी लिया   है  ज़रा।
ऐक भंवर दिल की गहराइँ में समेटा था…
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Added by Manisha joban desai on December 21, 2016 at 1:30am — No Comments

ગઝલ

તસ્વીર

એક તારી એ તસ્વીરો યાદ છે,

હાથમાં એ હાથ સફરો યાદ છે.

હોય તારા હાથમાં ફૂલો ખીલતાં,

બાગમાં પંખીનો ડેરો  યાદ  છે.

યાદ આવે ને  ફરીથી   દોડતાં ,

એજ ઘર નો રોજ ફેરો યાદ છે .

આપણાં ગીતો મધુરાં  વાતમાં ,

સાંજનો એ રંગ ઘેરો, યાદ  છે.

પ્રેમ સ્વપ્ન સાથ ભીની પાંપણો,

આંખ પરનો એ પહેરો યાદ છે .

-મનીષા જોબન દેસાઈ…

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Added by Manisha joban desai on December 9, 2016 at 11:03pm — No Comments

gazal

निकले है ये जरा से घूमनें ,

भेष है बदला नया ये धून में।



संग मंजीरे बजाते हाथ में,

अेक सूरज ओर जैसे धूप में।



बाललीला मनभावन ये सभी

खुद प्रभु आ गये है रुप में।



-मनीषा'जोबन '…

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Added by Manisha joban desai on December 9, 2016 at 8:19pm — No Comments

हिन्दी गज़ल

आपका वो मिलना तो याद है

दिलका वो खिलना तो याद है।

जिस तरहा बिछड़े थे मोड़ पर

और तुम्हें ही गवाँना तो याद है।

देखते है सब नज़ारे राह पर

आपका ही गुज़रना तो याद है।

हँसकर हम टाल देते है सदा,…

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Added by Manisha joban desai on December 8, 2016 at 9:31am — 1 Comment

ગઝલ

એક પંખી સંગ નાતો અવનવો,

એક એનો રંગ રાતો અવનવો.

હોય એનો સંગ મીઠા કલરવે,

રાગ સાથે રોજ ગાતો અવનવો.

સાથમાં આ ફૂલ સંગે સુગંધ ,

ને,…

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Added by Manisha joban desai on December 8, 2016 at 9:00am — No Comments

હાઇકુ

સાંજ ઉતરી,

યાદ તારા કિનારે ,

હાથોમાં હાથ.

-મનીષા 'જોબન …

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Added by Manisha joban desai on November 24, 2016 at 10:00pm — 2 Comments

Blog Posts

परिक्षा

Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:19pm 0 Comments

होती है आज के युग मे भी परिक्षा !



अग्नि ना सही

अंदेशे कर देते है आज की सीता को भस्मीभूत !



रिश्तों की प्रत्यंचा पर सदा संधान लिए रहेता है वह तीर जो स्त्री को उसकी मुस्कुराहट, चूलबलेपन ओर सबसे हिलमिल रहेने की काबिलियत पर गडा जाता है सीने मे !



परीक्षा महज एक निमित थी

सीता की घर वापसी की !



धरती की गोद सदैव तत्पर थी सीताके दुलार करने को!

अब की कुछ सीता तरसती है माँ की गोद !

मायके की अपनी ख्वाहिशो पर खरी उतरते भूल जाती है, देर-सवेर उस… Continue

ग़ज़ल

Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:18pm 0 Comments

इसी बहाने मेरे आसपास रहने लगे मैं चाहता हूं कि तू भी उदास रहने लगे

कभी कभी की उदासी भली लगी ऐसी कि हम दीवाने मुसलसल उदास रहने लगे

अज़ीम लोग थे टूटे तो इक वक़ार के साथ किसी से कुछ न कहा बस उदास रहने लगे

तुझे हमारा तबस्सुम उदास करता था तेरी ख़ुशी के लिए हम उदास रहने लगे

उदासी एक इबादत है इश्क़ मज़हब की वो कामयाब हुए जो उदास रहने लगे

Evergreen love

Posted by Hemshila maheshwari on September 12, 2023 at 10:31am 0 Comments

*પ્રેમમય આકાંક્ષા*



અધૂરા રહી ગયેલા અરમાન

આજે પણ

આંટાફેરા મારતા હોય છે ,

જાડા ચશ્મા ને પાકેલા મોતિયાના

ભેજ વચ્ચે....



યથાવત હોય છે

જીવનનો લલચામણો સ્વાદ ,

બોખા દાંત ને લપલપતી

જીભ વચ્ચે



વીતી ગયો જે સમય

આવશે જરુર પાછો.

આશ્વાસનના વળાંકે

મીટ માંડી રાખે છે,

ઉંમરલાયક નાદાન મન



વળેલી કેડ ને કપાળે સળ

છતાંય

વધે ઘટે છે હૈયાની ધડક

એના આવવાના અણસારે.....



આંગણે અવસરનો માહોલ રચી

મૌન… Continue

जिन्दा हों तो जिंदगी कि मिसाल बनो

Posted by Pooja Yadav shawak on July 31, 2021 at 10:01am 0 Comments

जिन्दा हों तो जिंदगी कि मिसाल बनो

झूठ का साथी नहीं सच का सवाल बनो

यूँ तो जलती है माचिस कि तीलियाँ भी

बात तो तब है जब धहकती मशाल बनो



रोक लो तूफानों को यूँ बांहो में भींचकर

जला दो गम का लम्हा दिलों से खींचकर

कदम दर कदम और भी ऊँची उड़ान भरो

जिन्दा हों तो जिंदगी कि मिसाल बनो

झूठ का साथी नहीं सच का सवाल बनो



यूँ तो अक्सर बातें तुझ पर बनती रहेंगी

तोहमते तो फूल बनकर बरसा ही करेंगी

एक एक तंज पिरोकर जीत का हार करो

जिन्दा हों तो जिंदगी… Continue

No more pink

Posted by Pooja Yadav shawak on July 6, 2021 at 12:15pm 1 Comment

नो मोर पिंक

क्या रंग किसी का व्यक्तित्व परिभाषित कर सकता है नीला है तो लड़का गुलाबी है तो लड़की का रंग सुनने में कुछ अलग सा लगता है हमारे कानो को लड़कियों के सम्बोधन में अक्सर सुनने की आदत है.लम्बे बालों वाली लड़की साड़ी वाली लड़की तीख़े नयन वाली लड़की कोमल सी लड़की गोरी इत्यादि इत्यादि

कियों जन्म के बाद जब जीवन एक कोरे कागज़ की तरह होता हो चाहे बालक हो बालिका हो उनको खिलौनो तक में श्रेणी में बाँट दिया जता है लड़का है तो कार से गन से खेलेगा लड़की है तो गुड़िया ला दो बड़ी हुई तो डांस सिखा दो जैसे… Continue

यूँ ही मिल जाती जिंदगी तो क्या बात थी

Posted by Pooja Yadav shawak on June 25, 2021 at 10:04pm 0 Comments

यूँ ही मिल जाती जिंदगी तो क्या बात थी
मुश्किलों ने तुझे पाने के काबिल बना दिया
न रुलाती तू मुझे अगर दर्द मे डुबो डुबो कर
फिर खुशियों की मेरे आगे क्या औकात थी
तूने थपकियों से नहीं थपेड़ो से सहलाया है
खींचकर आसमान मुझे ज़मीन से मिलाया है
मेरी चादर से लम्बे तूने मुझे पैर तो दें डाले
चादर को पैरों तक पहुंचाया ये बड़ी बात की
यूँ ही मिल जाती जिंदगी तो क्या बात थी
मुश्किलों ने तुझे पाने के काबिल बना दिया
Pooja yadav shawak

Let me kiss you !

Posted by Jasmine Singh on April 17, 2021 at 2:07am 0 Comments

वो जो हँसते हुए दिखते है न लोग अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है पराये अहसासों को लफ़्ज देतें है खुद के दर्द पर खामोश रहते है जो पोछतें दूसरे के आँसू अक्सर खुद अँधेरे में तकिये को भिगोते है वो जो हँसते…

Posted by Pooja Yadav shawak on March 24, 2021 at 1:54pm 1 Comment

वो जो हँसते हुए दिखते है न लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है
पराये अहसासों को लफ़्ज देतें है
खुद के दर्द पर खामोश रहते है
जो पोछतें दूसरे के आँसू अक्सर
खुद अँधेरे में तकिये को भिगोते है
वो जो हँसते हुए दिखते है लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है

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