Made in India
Added by Chital manish Gandhi on April 30, 2013 at 3:51pm — 1 Comment
मुझे खुदसे मोहब्बत हो गई….
गिला ना कोई तुमसे,
ना शिकायत है खुदसे;
मैं तो अपने आप में खो गई,मुझे खुदसे मोहब्बत हो गई….
खुद ही रूठ जाऊ, खुद ही मान जाऊ;तुजसे कोई उम्मीद क्यूँ मैं करू …?
तू तो जाके बैठा है,पत्थर बनके; पत्थरसे बूंदों की जिद क्यूँ मैं करू ..?
जो तू नहीं मेरी खुशियो मे शामिल;
तो तू नहीं मेरी मोहब्बत के काबिल.…
Added by radhika patel on April 26, 2013 at 10:00am — 4 Comments
मैं तकरीबन २० साल के बाद विदेश से अपने शहर लौटा था !
बाज़ार में घुमते हुए सहसा मेरी नज़रें सब्जी का ठेला लगाये एक बूढे पर जा टिकीं, बहुत कोशिश के बावजूद भी मैं उसको पहचान नहीं पा रहा था ! लेकिन न जाने बार बार ऐसा क्यों लग रहा था की मैं उसे बड़ी अच्छी तरह से जनता हूँ !
मेरी उत्सुकता उस बूढ़ेसे भी छुपी न रही , उसके चेहरे…
ContinueAdded by Nihal Singh on April 23, 2013 at 2:25pm — No Comments
मुख्यालय पर नुक्कड़ नाटक के दौरान पहली बार हुई मुलाक़ात के समय हमें बड़े बाप की बिगड़ी औलाद समझकर हंसने वाली को कब हम रातों को जगाने और अकेले में गुदगुदाने लगे, उसे पता ही नहीं चला। कोएजुकेशन के अनुभव से अनजान उसके चेहरे पर छाई सांझ की उदासी सूर्योदय की लाली में बदल चुकी थी। विभांशु जैसा दुर्लभ नाम आज की तारीख में आउटडेटेड हो चुके बाबू और सोनू में बदल गया। चुनावों के दौरान सिर्फ हुडदंग करने के लिए कॉलेज आने वाला टपोरी, दिल किताब को पढने के लिए अब विद्यापीठ का नियमित छात्र बन चुका था। कॉलेज…
ContinueAdded by विभांशु दिव्याल on April 23, 2013 at 1:49pm — No Comments
"मै और मेरा अल्मोरा ,वैसे ये अकेला मेरा अल्मोरा नही है फिर भी मै मानता हूँ ,ये सिर्फ मेरा अल्मोरा है ,अब ऐसा क्यों है ,तमाम कारन है ,मै और अल्मोरा दोनों का मिजाज एक सा है ,फितरत एक सी है ,खामोशी भी एक सी है ,आत्मीय भावो की समझ भी एक सी है तक़रीबन ,अब जब इतना कुछ मिलता जुलता हो तो भला अल्मोरा मेरा ही है, मेरा ही है ..."
अब आज की ही यहाँ की शालीन ,साफ़ सुथरी प्रक्रति का मिजाज देखे एकदम शांत ,खोया हुवा सा ,बहुत कुछ अपनी भुजाओ मै समेटा हुवा सा ,एकदम से यहाँ की फितरत शाम होते होते फिर अपने…
Added by mayank singh negi on April 23, 2013 at 12:02am — No Comments
Why Women Cry
Watch her eyes
"A little boy asked his mother, "Why are you crying?" "Because I'm a woman , " she told him.
"I don't understand , " he said. His Mom just hugged him and said , "And you never will."
Later the little boy asked his father , "Why does mother seem to cry for no reason?"
"All women cry for no reason , " was all his dad could say.
The little boy grew up and…
Added by Disha Jain on April 22, 2013 at 10:30pm — 2 Comments
1.सवाल : एक बार हाथ से जो चला गया वह क्या है ?
जवाब : समय, जीवन का वो पल जो अभी चल रहा है वह वापस कभी नही आता.!
2.सवाल : क्या खाने से इन्सान सुधरता है.?
जवाब : ठोकर खाने से.!
3.सवाल : ईश्वर अपने ह्रदय मेँ किस तरह छिपा है.?
जवाब : जिस तरह लकडी मेँ आग.!
4.सवाल : सुख के शत्रु कौन.?
जवाब : असंतोष, वहम और शंका.!
5.सवाल : कौन सी चीज खत्म नही होती.?
जवाब : आशा, त्ष्णा और…
Added by Nihal Singh on April 22, 2013 at 11:51am — 2 Comments
Added by Dhruti Sanjiv on April 22, 2013 at 8:00am — No Comments
So called intellectuals key argument is "Can Gujarat development model work for India?"
I really doubt there intellectual level or my be by any means they want oppose modi...
Gujarat govt machinery was same with or without Modi... Modi energise the govt machinery for better and efficient way of working...
The same can be done for all India also... Its only matter of will to do the things... Thats what Modi shows such vision and sure if get chance to serve at centre stage will…
Added by Bipin Trivedi on April 21, 2013 at 7:44pm — No Comments
एक अरसे पहले
दर्द ने मेरी चौखट पर आकर
मेरे दिल में जगह बना ली ऐसे
जैसे कोई अपने प्यार के लिए..
अब मेरा दिल मेरे बस में नहीं
वोही है जो उस पर अधिकार से
मनमानी कर लेता है और मैं उसे
कुछ भी नहीं कह पाता..
पता नहीं कोई सुबह या शाम को
आपके दरवाजे पर दस्तक देकर
खबर सूना भी दें कि मेरे दिल पर
जिसने अधिकार जमाया था
वो दर्द इतना हावी हो गया कि
मेरी साँसें थम गई है और आप
ताज्जुब से या थोड़े से…
ContinueAdded by pankaj trivedi on April 20, 2013 at 6:51pm — No Comments
નિકારાગુઆના એક જાણીતા કવિ અરનેસ્તો કાર્દેનાલ છે. આ કવિએ મેરિલીન મનરો માટે પ્રભુને પ્રાર્થના કરતું એક સંવેદનશીલ કાવ્ય લખ્યું છે. કાવ્યનું શીર્ષક છે : ‘મેરિલીન મનરો માટે પ્રભુને પ્રાર્થના’. પ્રાર્થના વિશે એવું કહેવાય છે કે પ્રાર્થનાથી ઇશ્વર બદલાતો નથી, પણ પ્રાર્થના કરનાર બદલાય છે. બનૉડ શો તો એટલી હદ સુધી કહે છે કે ‘Most people do not pray, They only beg.’ મોટા ભાગના લોકો પ્રભુ પાસે ભિખારીની જેમ ઊભા રહે છે, પણ એક કવિ કોઇ બીજા માટે પ્રાર્થના કરે એ વધારે પવિત્ર હોય છે. આ કવિએ મેરિલીન મનરો…
ContinueAdded by Anil Joshi on April 17, 2013 at 9:16pm — No Comments
जिंदगी और मैं अक्सर लड़ लेते है वो मुझे कुछ देना नहीं चाहती और मै उससे छीन लेता हूँ इसने कई बार अँधेरे में धकेला मैं हर बार निकल आया जुगत कर इसने दिल में कई बार खंजर डाले बेतहासा और बारम्बार खून के फौब्बरे निकले, छींटे उझले और मेरी कमरों की दीवारों में दफ़न हो गए,लाल निशान के साथ दिल तो पत्थर हो गया लाल कफ़न ओद कर इस पर अब भी खंजर गिरते है दिल को फर्क नहीं पड़ता लेकिन आंख सूज जाती है क्यूंकि अब बरसात नहीं होती वहां वहां तो सुखा है न जाने कब से ओठ फिर भी सब कुछ छिपाकर मुस्करा जाते है कभी अपनी…
ContinueAdded by Vikas Pandey on April 17, 2013 at 7:25pm — No Comments
Added by Ashvini Chopra on April 15, 2013 at 7:41pm — 5 Comments
Added by Facestorys.com Admin on April 13, 2013 at 3:15pm — 2 Comments
ટ્રાફિકની રેડ સિગ્નલ ઉપર ઊભાં આજુબાજુમાં ડાફોળિયાં મારતી વખતે કોઇ આકર્ષક અજનબી સામે નજર ચોંટી જાય છે ... અને એ પછી કયો રસ્તો ઘર તરફ લઇ જાય છે?
ધસમસતા જીવનની ઝડપ સાથે જાણીતા - અજાણ્યા ચહેરાઓનો ટ્રાફિક પણ તમારી સાથે દોડતો રહે છે ...
હેલ્મેટ પહેરેલાં ,રુમાલ થી બાંધેલાં, બુકાનીની જેમ દુપટ્ટાથી ઢાંકેલા સનગ્લાસીસના ગ્લેરેથી ચળકતાં, પરસેવાથી લથબથતાં, નાજુક, નમણાં, હળવા, ભારે, રુપાળા, કદરુપા, જુવાન, ઘરડાં, સુંદર દાંતથી ચમકતાં, સ્મિતવાળા., ખિલ્ખિલાટ અને બોખા દાંતે બાંકડે ઉજાણીએ કરતાં…
ContinueAdded by Naishadh Purani on April 11, 2013 at 3:59pm — No Comments
Added by Badhir Amdavadi on April 10, 2013 at 10:01pm — 2 Comments
ગીત
છલકાતી હેલ એની મદમાતી ચાલ ,ઓલી પનઘટથી પનિહારી આવે પાદરથી ઉંબર લગ વેરાતું વ્હાલ ,ઓલી પનઘટથી પનિહારી આવે
ઉગતો સુરજ એને જુએ ને સૂરજનો આખો દિવસ જાય સુધરી સાંભળેલી વાર્તાઓ સાચી થઇ ગઈ ,જાણે આકાશથી સોનપરી ઉતરી
શેરીના અલબેલા ઓટલાઓ ન્યાલ, ઓલી પનઘટથી પનિહારી આવે …
ContinueAdded by suresh virani on April 1, 2013 at 11:48pm — No Comments
Added by Ali Asgar M. Devjani on April 1, 2013 at 11:59am — No Comments
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Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:19pm 0 Comments 0 Likes
Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:18pm 0 Comments 0 Likes
Posted by Hemshila maheshwari on September 12, 2023 at 10:31am 0 Comments 1 Like
Posted by Pooja Yadav shawak on July 31, 2021 at 10:01am 0 Comments 1 Like
Posted by Jasmine Singh on July 15, 2021 at 6:25pm 0 Comments 1 Like
Posted by Pooja Yadav shawak on July 6, 2021 at 12:15pm 1 Comment 2 Likes
Posted by Pooja Yadav shawak on June 25, 2021 at 10:04pm 0 Comments 3 Likes
Posted by Pooja Yadav shawak on March 24, 2021 at 1:54pm 1 Comment 1 Like
वो जो हँसते हुए दिखते है न लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है
पराये अहसासों को लफ़्ज देतें है
खुद के दर्द पर खामोश रहते है
जो पोछतें दूसरे के आँसू अक्सर
खुद अँधेरे में तकिये को भिगोते है
वो जो हँसते हुए दिखते है लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है
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