Vaidehi Darbhe's Blog (7)

Kalidas

Kalidas who is honoured as 'Kavikulaguru' has left no reliable trace of his personal life and family history or the period during which he lived and wrote. The gloom and obscurity which encompasses kalidas's life is however so profound that scholars, both Indian and European, in spite of colossal efforts, have been as yet unable to penetrate into and unravel the mystery, and various dates have been ascribed to him ranging from the 8th century B.C to the 8th century A.D Some scholars assume that… Continue

Added by Vaidehi Darbhe on March 5, 2016 at 12:08am — No Comments

Kalidas

Kalidas who is honoured as 'Kavikulaguru' has left no reliable trace of his personal life and family history or the period during which he lived and wrote. The gloom and obscurity which encompasses kalidas's life is however so profound that scholars, both Indian and European, in spite of colossal efforts, have been as yet unable to penetrate into and unravel the mystery, and various dates have been ascribed to him ranging from the 8th century B.C to the 8th century A.D Some scholars assume that… Continue

Added by Vaidehi Darbhe on March 5, 2016 at 12:06am — No Comments

अन्योक्तयः ।

Jagannath Pandit was a great poet and scholar in Sanskrit literature. He was from South India. His nickname was 'Veginadu' or 'Vellanadu'. His father 'Perubhatta' or 'Perambhatta' was also a great scholar and had studied on the subjects like law,grammar, वैशेशिकand पु्र्वमीमांसा etc. Jagannath learned a lot from his father. In 17th century he was the scholar in the court of the king Shahajahan. There he was honoured as पंडितराज (king of scholar).

Jagannath has written five books on hymns… Continue

Added by Vaidehi Darbhe on March 1, 2016 at 11:00pm — No Comments

प्रहेलिका

अद्य वयं प्रहेलिका पश्यामः। प्रहेलिका नाम अाङग्लभाषायाम् riddles इति उच्यते। अद्य अहम् अत्र प्रहेलिकां पृच्छामि । यदि उत्तरम् आगच्छति तर्हि उत्तरं ददातु अन्यथा श्वः अहं वदिश्यामि।



१.अस्थि नास्ति शिरो नास्ति बाहुरस्ति निरङगुलिः ।

नास्ति पादद्वयम् गाढमङगमालिङगति स्वयम्।।



२.वृक्षस्याग्रे फलंदाज दृष्टं फलाग्रे वृक्षमेव च ।

अकारादि सकारान्तं यो जानाति स पण्डितः ॥



३.पर्वताग्रे रथो याति, भुमौ तिष्ठति सारथिः ।

वायुर्वेगेन , चलति पदमेकं न गच्छति… Continue

Added by Vaidehi Darbhe on February 26, 2016 at 11:00pm — 1 Comment

सुभाषितमौक्तिकानि

संसारकटुवृश्रस्य द्वे फले ह्रमृतोपमे ।

सुभाषितरसास्वादः संगतिः सुजनैः सह ।

(Appreciating the essence of सुभाषितs is said to be a means of removal of sorrow. A lover of Sanskrit indeed finds a great joy in the sweet, sonorous, lyrical sayings found in abundance in the language of Gods.)

खिन्नं चापि सुभाषितेन रमते स्वीयं मनः सर्वदा

श्रुत्वान्यस्य सुभाषितं खलु मनः श्रोतुं पुनर्वाञ्छति ।

अज्ञान् ज्ञानवतोप्यनेन हि वशीकर्तुं समर्थपणे भवेत्

कर्तव्यो हि सुभाषितस्य… Continue

Added by Vaidehi Darbhe on February 25, 2016 at 11:00pm — No Comments

अमृतवाणी

सुरस सुबोधा विश्वमनोज्ञा ललिता ह्रद्या रमणिया।

अमृतवाणी संस्कृतभाषा नैव क्लिष्टा न च कठिना॥



संस्कृतभाषा मम प्रिया भाषा। अद्य आरभ्य अहं संस्कृतविषये संस्कृतभाषायां लेखनस्य प्रयत्नं करोमि। सर्वेषां शुभाशयाः प्रार्थयामि ।एषा भाषा सरला,सरसा,सुबोधा तु अस्ति एव तथैव शास्त्रिया अपि अस्ति । अस्माकं भारतीया संस्कृतीः संस्कृतभाषाम् आश्रित्य तिष्ठति । संस्कृतं नाम भारतस्य आत्मा एव। पाणिनी व्याकरणस्य कर्ता अस्ती। व्याकरणसुत्रैः संस्कृतभाषा नियमबद्धा कृता तेन । अतः एव संस्कृतभाषा संगणकार्थं… Continue

Added by Vaidehi Darbhe on February 24, 2016 at 9:30pm — No Comments

करबदरसदृशमखिलं भुवनतलं यत्प्रसादात् कवयः। पश्यन्ति सूक्ष्ममतयः सा जयति सरस्वती देवी ॥ ( Poets can see things which cannot be seen by been the Sun. Because of the favour of goddess Saraswati they can …

करबदरसदृशमखिलं भुवनतलं यत्प्रसादात् कवयः।
पश्यन्ति सूक्ष्ममतयः सा जयति सरस्वती देवी ॥
( Poets can see things which cannot be seen by been the Sun. Because of the favour of goddess Saraswati they can see the whole world clearly as a small berry kept on the palm.) Continue

Added by Vaidehi Darbhe on February 23, 2016 at 3:02pm — No Comments

Blog Posts

परिक्षा

Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:19pm 0 Comments

होती है आज के युग मे भी परिक्षा !



अग्नि ना सही

अंदेशे कर देते है आज की सीता को भस्मीभूत !



रिश्तों की प्रत्यंचा पर सदा संधान लिए रहेता है वह तीर जो स्त्री को उसकी मुस्कुराहट, चूलबलेपन ओर सबसे हिलमिल रहेने की काबिलियत पर गडा जाता है सीने मे !



परीक्षा महज एक निमित थी

सीता की घर वापसी की !



धरती की गोद सदैव तत्पर थी सीताके दुलार करने को!

अब की कुछ सीता तरसती है माँ की गोद !

मायके की अपनी ख्वाहिशो पर खरी उतरते भूल जाती है, देर-सवेर उस… Continue

ग़ज़ल

Posted by Hemshila maheshwari on March 10, 2024 at 5:18pm 0 Comments

इसी बहाने मेरे आसपास रहने लगे मैं चाहता हूं कि तू भी उदास रहने लगे

कभी कभी की उदासी भली लगी ऐसी कि हम दीवाने मुसलसल उदास रहने लगे

अज़ीम लोग थे टूटे तो इक वक़ार के साथ किसी से कुछ न कहा बस उदास रहने लगे

तुझे हमारा तबस्सुम उदास करता था तेरी ख़ुशी के लिए हम उदास रहने लगे

उदासी एक इबादत है इश्क़ मज़हब की वो कामयाब हुए जो उदास रहने लगे

Evergreen love

Posted by Hemshila maheshwari on September 12, 2023 at 10:31am 0 Comments

*પ્રેમમય આકાંક્ષા*



અધૂરા રહી ગયેલા અરમાન

આજે પણ

આંટાફેરા મારતા હોય છે ,

જાડા ચશ્મા ને પાકેલા મોતિયાના

ભેજ વચ્ચે....



યથાવત હોય છે

જીવનનો લલચામણો સ્વાદ ,

બોખા દાંત ને લપલપતી

જીભ વચ્ચે



વીતી ગયો જે સમય

આવશે જરુર પાછો.

આશ્વાસનના વળાંકે

મીટ માંડી રાખે છે,

ઉંમરલાયક નાદાન મન



વળેલી કેડ ને કપાળે સળ

છતાંય

વધે ઘટે છે હૈયાની ધડક

એના આવવાના અણસારે.....



આંગણે અવસરનો માહોલ રચી

મૌન… Continue

जिन्दा हों तो जिंदगी कि मिसाल बनो

Posted by Pooja Yadav shawak on July 31, 2021 at 10:01am 0 Comments

जिन्दा हों तो जिंदगी कि मिसाल बनो

झूठ का साथी नहीं सच का सवाल बनो

यूँ तो जलती है माचिस कि तीलियाँ भी

बात तो तब है जब धहकती मशाल बनो



रोक लो तूफानों को यूँ बांहो में भींचकर

जला दो गम का लम्हा दिलों से खींचकर

कदम दर कदम और भी ऊँची उड़ान भरो

जिन्दा हों तो जिंदगी कि मिसाल बनो

झूठ का साथी नहीं सच का सवाल बनो



यूँ तो अक्सर बातें तुझ पर बनती रहेंगी

तोहमते तो फूल बनकर बरसा ही करेंगी

एक एक तंज पिरोकर जीत का हार करो

जिन्दा हों तो जिंदगी… Continue

No more pink

Posted by Pooja Yadav shawak on July 6, 2021 at 12:15pm 1 Comment

नो मोर पिंक

क्या रंग किसी का व्यक्तित्व परिभाषित कर सकता है नीला है तो लड़का गुलाबी है तो लड़की का रंग सुनने में कुछ अलग सा लगता है हमारे कानो को लड़कियों के सम्बोधन में अक्सर सुनने की आदत है.लम्बे बालों वाली लड़की साड़ी वाली लड़की तीख़े नयन वाली लड़की कोमल सी लड़की गोरी इत्यादि इत्यादि

कियों जन्म के बाद जब जीवन एक कोरे कागज़ की तरह होता हो चाहे बालक हो बालिका हो उनको खिलौनो तक में श्रेणी में बाँट दिया जता है लड़का है तो कार से गन से खेलेगा लड़की है तो गुड़िया ला दो बड़ी हुई तो डांस सिखा दो जैसे… Continue

यूँ ही मिल जाती जिंदगी तो क्या बात थी

Posted by Pooja Yadav shawak on June 25, 2021 at 10:04pm 0 Comments

यूँ ही मिल जाती जिंदगी तो क्या बात थी
मुश्किलों ने तुझे पाने के काबिल बना दिया
न रुलाती तू मुझे अगर दर्द मे डुबो डुबो कर
फिर खुशियों की मेरे आगे क्या औकात थी
तूने थपकियों से नहीं थपेड़ो से सहलाया है
खींचकर आसमान मुझे ज़मीन से मिलाया है
मेरी चादर से लम्बे तूने मुझे पैर तो दें डाले
चादर को पैरों तक पहुंचाया ये बड़ी बात की
यूँ ही मिल जाती जिंदगी तो क्या बात थी
मुश्किलों ने तुझे पाने के काबिल बना दिया
Pooja yadav shawak

Let me kiss you !

Posted by Jasmine Singh on April 17, 2021 at 2:07am 0 Comments

वो जो हँसते हुए दिखते है न लोग अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है पराये अहसासों को लफ़्ज देतें है खुद के दर्द पर खामोश रहते है जो पोछतें दूसरे के आँसू अक्सर खुद अँधेरे में तकिये को भिगोते है वो जो हँसते…

Posted by Pooja Yadav shawak on March 24, 2021 at 1:54pm 1 Comment

वो जो हँसते हुए दिखते है न लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है
पराये अहसासों को लफ़्ज देतें है
खुद के दर्द पर खामोश रहते है
जो पोछतें दूसरे के आँसू अक्सर
खुद अँधेरे में तकिये को भिगोते है
वो जो हँसते हुए दिखते है लोग
अक्सर वो कुछ तन्हा से होते है

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